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Last Updated : शनिवार, 4 मई 2024 (12:49 IST)

हैदराबाद की सड़कों पर मजदूरी क्‍यों कर रहे हैं पद्मश्री दर्शनम मोगुलैया, कहां गए उनके 1 करोड़ रुपए?

Padma Shri Darshanam Mogulaiah
  • 2022 में राष्ट्रपति ने दर्शनम मोगुलैया दिया था पद्मश्री
  • जिंदगी पर टूटी मुसीबतों में खर्च हो गए 1 करोड़ रुपए
  • राज्य सराकर से मिलने वाला 10 हजार का मानदेय भी बंद
Who is Darshanam Mogilaiah: दुर्लभ संगीत वाद्ययंत्र 'किन्नेरा' के आविष्कार के लिए दो साल पहले पद्मश्री से सम्मानित दर्शनम मोगुलैया को जब सरकार के हाथों यह सम्‍मान मिला था तो देखते ही देखते वे देश में सेलिब्रेटी बन गए थे। लेकिन एक बार फिर से वे चर्चा में आए है, हालांकि इस बार जिस वजह से वे चर्चा में आए हैं, वो बेहद दुखद कहानी है।

पद्मश्री को क्‍यों करना पड़ रही मजदूरी: दरअसल, दर्शनम मोगुलैया इन दिनों हैदराबाद के छोटे मोटे इलाकों में इमारतों की कंस्‍ट्रक्‍शन साइट पर दिहाड़ी मजदूरी कर के अपनी आजीविका चला रहे और पेट भर रहे हैं। कुछ समय पहले बीमारी से उनके तीन बच्‍चों की मौत और असमय पत्‍नी के निधन ने भी उन्‍हें तोड़ दिया। यहां तक तेलंगाना सरकार से पुरस्कार के बाद मिलने वाली 1 करोड़ रुपए की नकद राशि पारिवारिक जरूरतों पर खर्च हो गई और वे पाई पाई के लिए मोहताज हो गए हैं। बता दें कि दर्शनम मोगुलैया ने दुर्लभ संगीत वाद्ययंत्र 'किन्नेरा' का आविष्कार किया था। जिसकी वजह से उन्‍हें पद्मश्री मिला था।

कौन हैं दर्शनम मोगिलैया: दर्शनम मोगिलैया का जन्म 1951 तेलंगाना में हुआ था। दर्शनम मोगिलैया को किन्नरा मोगुलैया के नाम से भी जाना जाता है। वह भारतीय राज्य तेलंगाना के एक कलाकार हैं और किन्नरा नाम से जाने जाने वाले आदिवासी संगीत वाद्ययंत्र के कुछ जीवित कलाकारों में से एक हैं। गांव में वह एक दलित परिवार से आते हैं। पढ़ाई न करने की वजह से उन्हें कोई नौकरी भी नहीं मिली। अब उनके बारे में खबर है कि वे हैदराबाद में मजदूरी करके जीवन यापन कर रहे हैं।

कहां खर्च हुए एक करोड़ रुपए: बता दें कि पद्मश्री दर्शनम मोगिलैया को तेलंगाना सरकार से पुरस्कार 1 करोड़ रुपए की नकद राशि मिली थी। लेकिन वो राशि पारिवारिक जरूरतों पर खर्च हो गई। बच्चों की शादी और इलाज में पैसे खत्म हो गए। इसी वजह से अब उन्हें मजदूरी करके अपना जीवन यापन करना पड़ रहा है।

नहीं मिली नौकरी : दर्शनम के बारे में जो रिपोर्ट मीडिया में आ रही है, उनमें बताया गया है कि उन्‍होंने काम के लिए कई लोगों से संपर्क करने की कोशिश की। लेकिन लोगों ने सहानुभूति जताकर विनम्रता से मना कर दिया। हालांकि सभी उनके काम की सराहना करते थे, छोटी-छोटी रकम देकर मदद भी दी, लेकिन उन्‍हें किसी ने नौकरी नहीं दी।

3 बच्चों और पत्‍नी की मौत: उनके 9 बच्चे हैं। जबकि तीन बच्चों की बीमारियों से मौत हो गई। उन्होंने बताया कि उनकी पत्नी का चार साल पहले ही निधन हो गया था। उनके बेटे को दौरे पड़ते थे। दवाओं के लिए उन्हें हर महीने कम से कम 7,000 रुपए की जरूरत पड़ती थी। तीन विवाहित हैं, तीन अन्य अभी भी छात्र हैं और मोगुलैया पर निर्भर हैं।

क्‍यों बंद हुआ मासिक मानदेय: रिपोर्ट के मुताबिक कलाकार दर्शनम मोगिलैया ने मीडिया को बताया कि राज्य सरकार से स्वीकृत 10,000 रुपए मासिक मानदेय भी हाल ही में बंद कर दिया गया। उन्हें नहीं पता कि ऐसा क्यों हुआ। इसके साथ ही राज्य सरकार ने हैदराबाद के पास रंगारेड्डी जिले में कलाकार के लिए 600 वर्ग गज का प्लॉट देने की भी घोषणा की थी। लेकिन अभी तक उन्हें वह प्लॉट नहीं मिला है। ऐसे में उन्‍हें अपने और परिवार के भरण पौषण के लिए मजदूरी करना पड रही है।
Edited by Navin Rangiyal
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